व्रत,उपवास तो भारतीय लोग करते ही रहते हैं। वैसे तो आमतौर उपवास का मतलब होता है सिर्फ तरल पदार्थ ही लेना ,लेकिन जब ७ या ८ दिन नवरात्रि के उपवास हो तो केवल तरल पदार्थ से मुश्किल हो जाता है। ऐसे में हम कुछ ऐसा खायें जिससे उपवास में भारी खाना यानि तैलीय भी न हो और पेट भी भर जाये। उपवास में राजगीरे , सिघाड़े और कुटु से आटा पूरी, पराठा , और पकौड़ी भी बनाते हैं।
आप कुटु की रोटी भी बना सकते हैं. आइये देखते हैं कैसे बनाते हैं कुटु के आटे से रोटी -- मैंने छोटी छोटी १० रोटियाँ बनाई हैं मैंने उसके लिए करीब १५० ग्राम यानि डेढ़ बड़ी कटोरी आटा लिया है उसमें सेंधा नमक और थोड़ी सी लाल मिर्च मिलायी है अगर आप चाहे तो मिर्च न मिलायें। उबले हुए ३ बड़े आलू आटे में अच्छे से मैश करके मिला लें। कुटु का आटा बनाते समय पानी जरूरत नहीं होगी आलू मिलाने से ही उसमें नमी आ जायेगी। अब अगर आप हाथ से रोटी बना सके तो बना लें नहीं तो कोई साफ़ प्लास्टिक की थैली लेकर अच्छे से साफ़ करके बीच में से काट लें ( जैसे हम चावल या आलू के पापड़ बनाते समय काम में लाते हैं ). प्लास्टिक शीट में तेल लगा कर आटे के पेड़े को हाथ से हल्के से थपथपा के रोटी के आकार में उसे बड़ा कर कर लें और नॉन स्टिक तवा गर्म करके मध्यम आंच पर रोटी को दोनों तरफ से अच्छे से सेंक ले। ऐसे ही जो लोग हाथ से बनाना चाहे वो हाथ में तेल लगा कर आटे के पेड़े धीरे - धीरे बड़ा करें। दोनों ओर से रोटी सेंक कर घी लगा कर कुटु के आटे की रोटी आलू की सब्जी और दही या रायते के साथ खायें

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